मेरी पत्नी और चार बच्चियों को मेरा भांजा धोखे से अपने साथ लेकर कहीं चला गया है, आज तीन दिन से ज्यादा बीत गए है ना ही पत्नी का कुछ पता चला और ना ही बच्चियों का…पत्नी को घर से साथ में ले जाने वाला भांजा भी घर से लापता है, पत्नी और बच्चों के साथ कुछ अनहोनी ना हो गई है, इसको लेकर डर बना हुआ है…ये फरियाद लगाई है जबलपुर के बेलखेड़ा थाना अंतर्गत कुसली गांव में रहने वाले महेंद्र वंशकार ने। जबलपुर में वरिष्ठ पुलिस अधिकारियों से मुलाकात कर महेन्द्र ने बताया कि भांजे का नाम दुर्गेश है जो कि सर्रा गांव जिला नरसिंहपुर का रहने वाला है। कुछ माह से वो जब कभी भी घर आता था तो पत्नी और बच्चे से हंस-हंस कर बात किया करता था, पर सोचा नहीं था कि वह ऐसे भी कर सकता है। पत्नी और बच्चियां कैसी हालत में कुछ नहीं पता जिस दिन घर से गए है तभी से मोबाइल भी बंद है। महेन्द्र की शिकायत पर एएसपी का कहना है कि चार में से एक बच्ची को दस्तायब कर लिया गया है, बाकी के लोगों को तलाश करने के लिए थाना प्रभारी को निर्देश दिए गए है।
कुसली गांव में रहने वाले 46 वर्षीय महेंद्र वंशकार ने जबलपुर एएसपी को शिकायत देते हुए बताया कि 18 साल पहले ममता ( 38) निवासी नरसिंहपुर के साथ विवाद हुआ था। शादी के बाद से ही किसी ना किसी बात को लेकर विवाद होता था। महेन्द्र ने बताया कि 17 जुलाई को वह काम से जबलपुर आया हुआ था, शाम को घर गया तो देखा कि चार बच्ची और पत्नी गायब है, घर का दरवाजा बाहर से बंद था। महेन्द्र ने पत्नी और लड़कियों को पूरे गांव में तलाश किया, इस दौरान ग्रामीणों ने जानकारी दी कि दोपहर को पत्नी, चार बच्चियां भांजे दुर्गेश के साथ गांव से बाहर जाते हुए दिखाई दी थी। महेन्द्र ने तुरंत ही दुर्गेश को कॉल किया पर उसने फोन रिसीव नहीं किया, इसके बाद महेन्द्र दुर्गेश के सर्रा गांव पहुंचा पर वहां पर भी दुर्गेश और उसकी पत्नी नहीं मिली। महेन्द्र का कहना है कि पत्नी ममता के साथ सोनम (17), शिवानी (15), साक्षी (12) और आनिया (07) चारों बेटी साथ में है। पत्नी और बच्चियों के लापता होने पर उसने बेलखेड़ा थाने में शिकायत दर्ज करवाई।
महिला और चार बच्चियां का अचानक ही घर से गायब हो जाने को लेकर बेलखेड़ा थाना पुलिस ने तुरंत ही एक टीम बनाई और तलाश में जुट गई। महेन्द्र की शिकायत पर पुलिस ने दुर्गेश के घर पर भी जाकर दबिश दी, पर वहां पर उसका बड़ा भाई मनोज मिला जिसने बताया कि दुर्गेश 17 जुलाई से घर से गायब है। पुलिस लगातार ममता का फोन ट्राई कर रही थी। 28 जुलाई को फोन की लोकेशन भोपाल में मिली। जबलपुर पुलिस मौके पर पहुंची तो वहां पर महेन्द्र की बड़ी बेटी सोनम मिली, जिसने बताया कि उसकी मां भोपाल में रहकर घर पर साफ सफाई का काम कर रही थी, दो दिन पहले ही मां तीन बहन को लेकर राजस्थान के नलखेड़ा चली गई है और वही पर रह रही है। बेलखेड़ा पुलिस ने सोनम को दस्तयाब कर जबलपुर लेकर आई और पिता महेन्द्र के सुपुर्द कर दिया। पुलिस की एक टीम राजस्थान पहुंची पर तब तक ममता अपनी बेटियों के साथ दिल्ली के लिए रवाना हो चुकी थी।
जबलपुर पुलिस लगातार ममता और उनकी बेटी का पीछा कर रही थी, इसके साथ ही बार-बार काॅल कर रही थी। थाना प्रभारी सरोजिनी नायडू ने बताया कि 1 अगस्त को फोन लगाया तो लग गया, तब ममता ने बताया कि वह अपने पति के साथ नहीं रहती है, और बच्चियां भी…ममता का कहना है कि शादी के बाद से ही परेशान कर रहा है। कई बार तो शराब पी के मारपीट की, यहां तक भी सब कुछ ठीक था, पर जब गांव वालों के सामने ही मोटी भैंस बात-बात पर बोलना शुरू किया तो सोच लिया कि अब इसके साथ नहीं रहना है। ममता ने थाना प्रभारी को बताया सोच समझकर उसने ये फैसला लिया है, और बच्ची भी अपनी मर्जी से साथ में आई है। ममता का कहना है कि दुर्गेश भोपाल तक साथ में था अब हम दिल्ली में रहकर काम करेंगे और वहीं रहेंगे, इतना कहने के बाद ममता ने अपना मोबाइल बंद कर दिया, जो कि आज भी बंद है। हालांकि जल्द ही जबलपुर पुलिस दिल्ली जाने की तैयारी कर रही है। थाना प्रभारी का कहना है कि जल्द ही सभी को दस्तयाब कर लिया जाएगा।
महेंद्र वंशकार की शिकायत पर अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक सोनाली दुबे का कहना है कि 17 जुलाई से उसकी पत्नी और बच्चियां घर से गायब है, एक बेटी को भोपाल से दस्तयाब कर लिया गया है। बाकी की तलाश जारी है, जल्दी ही उन्हें तलाश कर लिया जाएगा। बेलखेड़ा थाना पुलिस की दो टीम बनाई गई है जो कि जल्द ही दिल्ली जाकर उन्हें तलाश करेगी, ममता का मोबाइल भी लगातार बंद है।