खंडवा में पंधाना थाने के लाॅकअप में चोरी के संदेही आदिवासी युवक ने खुदकुशी कर ली। उसने ओढ़ने वाली चादर फाड़ी। उससे फंदा बनाकर खिड़की में लगे सरिए से लटक गया। घटना शुक्रवार रात 10:10 मिनट की है। देर रात पुलिसकर्मियों ने देखा, तो उसे अस्पताल ले जाया गया, जहां डॉक्टरों ने मृत घोषित कर दिया। दरअसल, दीवाल गांव में इसी सप्ताह 20 लाख रुपए से ज्यादा की चोरी हुई थी। पंधाना पुलिस इस मामले की जांच में जुटी थी। पुलिस ने गांव में ही रहने वाले धर्मेंद्र पिता गुमान को पूछताछ के लिए उठाया था। हालांकि इस दौरान उसने 18 बाइक चोरी तो स्वीकार कीं, लेकिन 20 लाख की चोरी के बारे में कुछ नहीं बताया। पुलिस ने उसके पास से चोरी की तीन बाइक भी बरामद कर ली थीं। बाकी बाइक को वह बेच चुका था। आरोपी को लॉकअप में रखा था पुलिस के मुताबिक धर्मेंद्र को लॉकअप में रखा, तो उसने रात को चादर को फाड़कर रस्सी बनाई। फिर बाल्टी पर चढ़कर रोशनदान के सरिए में फंदा बांधकर फांसी लगा ली। घटना के समय थाने में एसआई हिमाल सिंह डामोर, कॉन्स्टेबल नारायण और अनिल थे। उन्होंने उसे फंदे पर लटके देखा, तो उतारकर अस्पताल ले गए, जहां डॉक्टर ने मृत घोषित कर दिया। शव को पोस्टमार्टम के लिए जिला अस्पताल ले आए थे। गांव का दामाद था आरोपी पुलिस कस्टडी में फांसी लगाने वाला धर्मेंद्र दीवाल गांव का दामाद था। वह मूल रूप से खरगोन जिले की भीकनगांव तहसील अंतर्गत आने वाले ग्राम दैत (नेमित) का निवासी था। दीवाल में रहकर वह राजमिस्त्री का काम करता था, लेकिन दीवाल में बड़ी चोरी की वारदात को लेकर डॉग स्क्वायड की टीम ने उस पर शंका जताई थी।