गर्भ में पल रहे शिशु को यदि उसी समय गर्भ संस्कार दे दिया जाए तो वह शिशु जन्म लेने के बाद देश, समाज और परिवार के लिए बहुत ही प्रतिभावान, सुसंस्कारित एवं शुभ होता है। यह विचार महायोग शनि अनुसंधान सामाजिक संस्थान द्वारा आयोजित अखिल भारतीय ज्योतिष – वास्तु महासम्मेलन में रविवार को जैन प्राच्यविद्या अनुसंधान संगठन की उपाध्यक्ष डॉ. मनीषा चेलावत जैन ने अपने उद्गार में व्यक्त किए। वरिष्ठ ज्योतिषाचार्य एम के जैन को ज्योतिष शिरोमणी – भृगुऋषि सम्मान अतिथियों द्वारा प्रदान किया गया। इस मौके पर डॉ. राजकुमार अग्रवाल, प्रीति पाडलिया जैन, रामजी पांचाल, पं. दिनेश शर्मा, पं.जितेंद्र नाथ, पं. संजय शर्मा, शिव मेहता, रामशंकर तिवारी एवं रचना शास्त्री आदि ने अपने शोध प्रस्तुत किए। कार्यक्रम में दिलीप राजपाल, आनंद कासलीवाल, विनोद शास्त्री, नारायण वैष्णव, प्रकाश गौड़ आदि उपस्थित थे। प्रारंभ में योगेश्वरी देवी ने शिव ताण्डव नृत्य प्रस्तुत कर मंगलाचरण किया। कार्यक्रम का संचालन हरिओम जोशी ने किया। आभार अध्यक्ष राधेश्याम पांचाल ने माना।