कांग्रेस पार्षदों ने दिया ज्ञापन-निगमायुक्त बैठक कराएं:परिषद की बैठक दो माह में होनी चाहिए, 3 महीने बाद भी तय नहीं

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संविधान दिवस के मौके पर मंगलवार को कांग्रेस पार्षदों ने नगर निगम परिषद की बैठक ​बुलाने की मांग करते हुए संभाग कमिश्नर संजीव सिंह को ज्ञापन सौंपा है। नगर निगम नेता प्रतिपक्ष शबिस्ता जकी ने आरोप लगाया कि दो महीने में होने वाली बैठक जान-बूझकर तीन महीने बाद भी नहीं कराई जा रही है। इन्होंने मांग की है कि नगर निगम कमिश्नर को निर्देशित करें कि वे परिषद की बैठक बुलाएं। गौरतलब है कि निगम परिषद की बैठक दो महीने में बुलाने का प्रावधान है। पिछली बैठक 2 सितंबर को हुई थी, ऐसे में 2 नवंबर तक बैठक होनी चाहिए थी। लेकिन, अब तक बैठक के लिए एजेंडा जारी नहीं हुआ है। यह सीधे तौर पर नियमों के विपरीत है। पार्षदों को पता ही नहीं चलता, उनके वार्ड में क्या विकास कार्य हो रहे हैं। ज्ञापन सौंपने वालों में कांग्रेस पार्षद गुड्डू चौहान, जीत राजपूत, प्रियांशु कंसाना आदि शामिल थे। निगम परिषद अध्यक्ष किशन सूर्यवंशी ने कहा कि अगले सप्ताह तक निगम परिषद की बैठक होगी। नियम…तो निगम कमिश्नर खुद बुला सकते हैं बैठक नियमानुसार परिषद बैठक की तारीख परिषद अध्यक्ष महापौर से चर्चा कर तय करते हैं। लेकिन किसी कारणवश ऐसा नहीं होता है तो नगर निगम एक्ट की धारा 18 और 23 ए के तहत प्रशासन के निर्देश पर निगम कमिश्नर बैठक बुला सकते हैं। परिषद की बैठक दो महीने में होनी चाहिए। तीन महीने बाद भी नहीं हुई है। बैठक में जनहित के मुद्दों पर चर्चा होनी चाहिए, लेकिन सीधे एमआईसी में प्रस्ताव पास कर मनमानी कर रहे हैं। नियमानुसार ऐसे में संभागायुक्त के आदेश से निगम कमिश्नर परिषद की बैठक करा सकते हैं।
शबिस्ता जकी, नेता प्रतिपक्ष, नगर निगम परिषद त्योहार और फिर उपचुनाव के कारण परिषद की बैठक तय समय पर नहीं हो पाई। लेकिन, इसके कारण विकास कार्य रुक रहे हों, ऐसा कतई नहीं है। शहर में जरूरी विकास कार्य किए जा रहे हैं। दिसंबर में परिषद की बैठक भी आयोजित की जाएगी।
मालती राय, महापौर भोपाल