वेतनमान में संशोधन, अनुकंपा नियुक्ति, तबादला सुविधा सहित 10 मांगों को लेकर स्थाईकर्मी 1 दिसंबर से सत्याग्रह शुरू कर रहे हैं। मध्य प्रदेश कर्मचारी मंच की प्रांतीय समिति ने प्रदेश के सभी जिलों में जन जागरण आंदोलन करने का निर्णय लिया है। बैठक में अशोक पांडे, राजू सिंह, घनश्याम कटारे, जेम्स एंथोनी, राजा राम मोरे, लव प्रकाश पाराशर, हरि सिंह गुर्जर, सुनील पाठक, शिव प्रसाद सागुले, श्याम बिहारी सिंह, दिनेश श्रीवास्तव, श्यामलाल विश्वकर्मा, भूपेंद्र पांडे, जगदीश शर्मा, चांद सिंह, राम गोपाल सहकारिता, मदनलाल मेहरा, थावरिया भील, नन्नू लाल मालवीय आदि शामिल थे। पांडे ने बताया कि राज्य सरकार पिछले 20 साल से अनियमित, अंशकालीन कर्मचारियों एवं श्रमिकों की उपेक्षा कर रही है। बार-बार ज्ञापन देने के बावजूद 10 मांगें मंजूर नहीं की जा रही हैं। जिससे अनियमित संवर्ग के लाखों कर्मचारियों में राज्य सरकार के विरुद्ध असंतोष व्याप्त है। प्रदेश में न तो वर्तमान सूचकांक के आधार पर श्रमिकों को वेतन दिया जा रहा है और न ही स्थाई कर्मियों का वेतनमान संशोधन किया जा रहा है। दैनिक वेतन भोगी कर्मचारियों को नियमित नहीं किया जा रहा है। अंशकालीन कर्मचारियों को पूर्ण कालिक दैनिक वेतन भोगी के रूप में कलेक्टर दर का वेतन नहीं दिया जा रहा है। वे कहते हैं कि श्रमिकों का वर्गीकरण भी नहीं किया जा रहा है। बीमा,पेंशन, अवकाश, पीएफ सुविधा का लाभ भी नहीं दिया जा रहा है। इस तरह अनियमित संवर्ग के कर्मचारियों के अधिकारों का हनन किया जा रहा है। नौकरशाही दमनकारी नीति अपना रही है जिस कारण अब प्रदेश व्यापी अनिश्चितकालीन सत्याग्रह भोपाल में शुरू किया जा रहा है। कर्मचारियों की प्रमुख मांगें …