सागर पब्लिक स्कूल गांधी नगर में आयोजित स्पोर्ट्स-डे ने एक बार फिर साबित कर दिया कि खेलों का महत्व केवल शारीरिक स्फूर्ति तक सीमित नहीं है, बल्कि यह विद्यार्थियों के मानसिक और भावनात्मक विकास में भी महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है। इस आयोजन में स्कूल के सागराइट्स, शिक्षकगण और अभिभावकगण का जोश और उत्साह देखने लायक था। स्पोर्ट्स-डे के इस रंगारंग कार्यक्रम में भोपाल की जिला खेल और कल्याण अधिकारी, बबीता तोमर मुख्य अतिथि के रूप में उपस्थित रहीं, जिन्होंने अपने संबोधन में खेल और शिक्षा के संतुलन पर जोर दिया। चेयरमैन सुधीर कुमार अग्रवाल ने अपने संदेश में कहा, “हमारे स्कूल के स्पोर्ट्स-डे और खेलकूद प्रतियोगिताएँ सागराइट्स के समग्र विकास, चरित्र निर्माण और अनुशासन को एक सकारात्मक दिशा देती हैं और उन्हें उत्कृष्टता की ओर प्रेरित करती हैं।” कार्यक्रम की शुरुआत टार्च प्रज्वलन से हुई, जिसके बाद विभिन्न सदनों के छात्रों ने स्कूल बैंड की धुन पर आकर्षक और समन्वित मार्च पास्ट किया। इसके बाद मुख्य अतिथि द्वारा गुब्बारे आकाश में छोड़े गए और खेल भावना की शपथ के साथ स्पोर्ट्स मीट का उद्घाटन हुआ। इस अवसर पर सागराइट्स ने योग प्रदर्शन, मार्शल आर्ट्स और विभिन्न पी.टी. ड्रिल प्रस्तुत की, जिसमें आत्म-संरक्षण और अनुशासन का अद्भुत उदाहरण देखने को मि संगठित रिले रेस और एथलेटिक्स की प्रतिस्पर्धाओं में नर्सरी से लेकर कक्षा 12वीं तक के छात्रों ने हिस्सा लिया। इन प्रतियोगिताओं में सागराइट्स ने अपनी समर्पण और कड़ी मेहनत से खेल भावना की मिसाल पेश की। समारोह के अंत में वार्षिक पुरस्कार वितरण किया गया, जिसमें विभिन्न श्रेणियों में शानदार प्रदर्शन करने वाले छात्रों को सम्मानित किया गया। प्रमुख पुरस्कारों में सतपुड़ा हाउस को ओवरऑल ट्रॉफी, विंध्याचल हाउस को सांस्कृतिक ट्रॉफी, हिमाचल हाउस को शैक्षिक ट्रॉफी, सतपुड़ा हाउस को साहित्यिक ट्रॉफी, अरावली हाउस को अनुशासन ट्रॉफी, और हिमाचल हाउस को सर्वश्रेष्ठ मार्च पास्ट ट्रॉफी प्राप्त हुई। इस शानदार आयोजन ने न केवल खेलों की महत्ता को उजागर किया, बल्कि विद्यार्थियों में टीम स्पिरिट और सामूहिकता का भी संदेश दिया। फोटो गैलरी में देखिए स्पोर्ट्स डे की झलकियां