मप्र में त्योहार अग्रिम की राशि बढ़ाने की मांग:कर्मचारियों ने कहा-4000 में मिठाई और पटाखे भी नहीं आते, दीपावली कैसे मनाएं

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15 साल में महंगाई तीन से चार गुना बढ़ गई है और मध्य प्रदेश के कर्मचारियों को राज्य सरकार अब भी त्योहार अग्रिम के रूप में सिर्फ 4000 रुपए ही दे रही है। आज की महंगाई में इस राशि से स्टेंडर्ड फैमली (4 सदस्यों के परिवार) की त्योहारी जरूरतें पूरी नहीं हो पा रही हैं। कर्मचारी कहते हैं कि इस राशि से तो अपेक्षाकृत पटाखे भी नहीं खरीदे जा सकते, फिर दीपावली जैसे त्योहार की अन्य जरूरतें कैसे पूरी करें। कर्मचारी त्योहार अग्रिम की राशि बढ़ाकर 15000 रुपए करने की मांग कर रहे हैं। वे छत्तीसगढ़ सरकार का उदाहरण भी देते हैं, जहां अगस्त 2022 में त्योहार अग्रिम की राशि 8000 से बढ़ाकर 10000 रुपए कर दी गई है। मध्य प्रदेश सरकार ने साल 2009 में त्योहार अग्रिम की राशि में वृद्धि की थी। तब इस राशि को 1000 रुपए से बढ़ाकर 4000 रुपए किया गया था। दरअसल, तब साल 2005-06 की तुलना में महंगाई बढ़ गई थी। गेहूं के दाम 1080 रुपए क्विंटल तक पहुंच गए थे और शकर भी 18-19 रुपए प्रति किलो, सोयाबीन तेल 48 से 53 रुपए लीटर, चावल 14 से 18 रुपए और देसी घी 150 से 250 रुपए किलो तक पहुंच गया था। इसी से राहत देने के लिए त्योहार अग्रिम की राशि बढ़ाई गई थी। इसके बाद 15 साल हो गए और आज गेहूं 3000 से 6000 रुपए क्विंटल, शहर 42 से 45 रुपए किलो, सोयाबीन तेल 130 से 148 रुपए लीटर, देसी घी 700 से 1500 रुपए और चावल 50 से 82 रुपए किलो बिक रहा है। ऐसे में 4000 रुपए अग्रिम मिलना कोई माइने नहीं रखता है। सामान्य महीने में एक फैमली का किराने का बिल 4000 रुपए से अधिक होता है। फिर त्योहारी सीजन की कल्पना की जा सकती है। 30800 रुपए का बैरियर त्योहार अग्रिम की राशि पहले ही अपेक्षा से कम दी जा रही है, फिर उसमें 30800 मासिक वेतन का बैरियर लगा दिया गया है। जिससे यह लाभ लेने वाले कर्मचारियों की संख्या घटकर 1.50 लाख से भी कम रह गई है। जबकि प्रदेश में 7.50 लाख नियमित कर्मचारी हैं। निगम, मंडल, सहकारी संस्थाओं के कर्मचारियों को जोड़ लें, तो संख्या 10 लाख के पार जाती है। उल्लेखनीय है कि साल 2009 से पहले 6वें वेतनमान में 12000 रुपए मासिक वेतन वाले कर्मचारियों को यह लाभ दिया जाता था। किस त्योहार पर दी जाती है राशि त्योहार अग्रिम की राशि दशहरा, दीपावली, होली, रक्षाबंधन, ईद, क्रिसमिस, स्वतंत्रता दिवस और गणतंत्र दिवस पर दी जाती है। 6.50% ब्याज के साथ वापस सरकार त्योहार अग्रिम के रूप में कर्मचारियों को जो राशि दे रही है, उसे 10 समान किस्तों में कर्मचारी के वेतन से वसूलती है। उस पर भी कर्मचारी को 6.50% का ब्याज देना पड़ता है। कर्मचारी से पहले ही प्रति माह वेतन से त्योहार अग्रिम की किस्त काटने का सहमति पत्रक भरवा लिया जाता है। ये कर्मचारी पात्र त्योहार अग्रिम के लिए सहायक ग्रेड-3, कार्यभारित-आकस्मिकता निधि कर्मचारी और भृत्य पात्र हैं। इसमें भी सहायक ग्रेड-3 10 साल और भृत्य 20 साल की सेवा पूरी करने पर योजना की पात्रता से बाहर हो जाते हैं, क्योंकि दोनों का वेतन 30000 रुपए से अधिक हो जाता है। वहीं स्थाईकर्मी, दैनिक वेतन भोगी और अंशकालीन कर्मचारी इस योजना के लिए पात्र नहीं हैं।