मध्यप्रदेश का मिल्क प्रोडक्ट और विश्वसनीय ब्रांड सांची को जल्द ही गुजरात की प्रसिद्ध अमूल ब्रांड कंपनी टेकओवर करने वाली है, जिस पर राज्यसभा सांसद विवेक तंखा ने आपत्ति जताते हुए मध्य प्रदेश सरकार के इस फैसले का विरोध किया है। विवेक तंखा ने कहा कि पीछे के दरवाजे से यह पूरा कार्यक्रम हो रहा है, इस सबसे यह लगता है कि मध्य प्रदेश सरकार गुजरात के सामने घुटने टेक रही है। राज्यसभा सांसद विवेक तंखा ने कहा कि मध्य प्रदेश सरकार भले ही घुटने टेक दे लेकिन प्रदेश की साढ़े सात करोड़ जनता इसके लिए सांची घर-घर का ब्रांड है सभी मिलकर इसका विरोध करेगी। राज्यसभा सांसद विवेक तंखा ने कहा कि मुझे बहुत ही आश्चर्य हुआ कि मध्य प्रदेश का सांची जो की एक सफल मिल्क ब्रांड है, जिस पर की प्रदेश के जनता को विश्वास है और यही सांची दूध जो हर घर तक पहुंचता है, उसे बहुत दिनों से अमूल टेक ओवर करने की कोशिश कर रहा है। विवेक तन्खा ने कहा कि अमूल गुजरात की एक ब्रांडेड कंपनी है। उन्होंने कहा कि मूल गुजरात में और पूरे विश्व में अच्छा काम कर रहे हैं इससे हमें कोई आपत्ति नहीं है लेकिन मध्य प्रदेश के सांची ब्रांड को टेकओवर करके गुजरात सरकार मध्य प्रदेश को आखिर क्या बताना चाह रही है। विवेक तन्खा ने इसका विरोध करते हुए कहा कि मध्य प्रदेश सरकार अगर इसे परमिट करती है तो यह गुजरात के सामने घुटने टेकने जैसी बात होगी। राज्यसभा सांसद विवेक तन्खा ने कहा कि यही प्रयास गुजरात सरकार ने कर्नाटक में भी किया था, तब कर्नाटक चुनाव में यह बड़ा मुद्दा बनकर सामने आया था। कर्नाटक के नंदिनी ब्रांड उसे भी टेकओवर करने की कोशिश की गई थी, और पहली बार तिरुपति बालाजी मंदिर में नंदिनी का नहीं बल्कि अमूल का घी चढ़ने वाला था, तब वहां पर भारतीय जनता पार्टी के नेताओं ने भी इसका विरोध करते हुए कहा था कि हम अपने स्टेट के ब्रांड को डायवर्ट होने नहीं देंगे। राज्यसभा सांसद ने कहा कि भारत एक फेडरेशन है और हर स्टेट को अपने ब्रांड और सम्मान करने का अधिकार है। विवेक तन्खा ने कहा कि किसी भी कीमत में मध्य प्रदेश से सांची ब्रांड को गुजरात नहीं जाने दिया जाएगा, और अगर सरकार हमारी बात नहीं मानेगी तो हम इस पूरे मामले को संसद में और के साथ-साथ कोर्ट में भी इस पूरे मामले को लेकर जाएंगे।