सीएमवी वायरस से खराब हुई फसल उखाड़ रहे किसान:निंबोला क्षेत्र के बाद अब लालबाग के किसान ने खेत से उखाड़ फेंके 70 फीसदी पौधे

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जिले में हर साल सीएमवी वायरस से केला फसल को नुकसान पहुंचाता है। इस साल भी यह नुकसान फिर से हो रहा है। निंबोला क्षेत्र के नसीराबाद सहित अन्य क्षेत्रों में दो दिन पहले किसान अपनी काफी फसल उखाड़ कर फेंक चुके हैं तो वहीं अब लालबाग कुंडी भंडारा रोड स्थित एक खेत से भी एक किसान ने केले पौधे उखाड़कर फेंक दिए। किसान ने कहा 70 फीसदी नुकसान हुआ है। 5400 पौधे लगाए थे। इसके साथ ही फसल को सुरक्षित रखने के लिए मल्चिंग पद्धति पर 70 हजार रूपए खर्च किए थे। साढ़े तीन से चार लाख रूपए का नुकसान हुआ है। किसान नासिर खान पिता कादर खान निवासी लालबाग ने बताया मेरा खेत लालबाग में कुंडी भंडारा रोड पर है। लाखों रूपए खर्च कर फसल को सींचा, लेकिन इस पर सीएमवी वायरस का अटैक हो गया। जिससे 70 फीसदी फसल खराब हो गई। बैंक से कर्ज लेकर फसल लगाई थी। अब डर सता रहा है कि कर्ज अदा कैसे करेंगे। 3 एकड़ भूमि पर 5400 पौधे लगाए। उन्होंने बताया पातोंडा के एक किसान ने भी इसी तरह सीएमवी वायरस के कारण फसल उखाड़ दी। केला फसल पर बीमा का प्रावधान नहीं
केला फसल पर बीमा का प्रावधान नहीं होने से किसान ज्यादा परेशान है। दरअसल, केला फसल को प्राकृतिक आपदा से नुकसान होने पर आरबीसी नियम 6-4 के तहत मुआवजा मिलता है, लेकिन यह पर्याप्त नहीं होता। किसानों का कहना है कि इससे तो फसल की लागत तक नहीं निकल पाती। जबकि अगर फसल बीमा हो तो पूरा पूरा मुआवजा मिले, लेकिन लंबे समय से किसान यह मांग कर रहे हैं जो पूरी नहीं हो रही है। इस साल तीन बार प्राकृतिक आपदा के कारण जिले के किसानों की केला फसल खराब हुई थी। करीब 63 करोड़ मुआवजा भी किसानों को बांटा गया था।