छात्रों को पढ़ाई के दौरान ही इंडस्ट्री से जोड़ने और उन्हें प्रैक्टिकल नॉलेज देन के लिए नेशनल अप्रेंटिसशिप ट्रेनिंग स्कीम (नेट्स) की शुरुआत की गई है। इस योजना के तहत अंडर ग्रेजुएट और डिप्लोमा धारकों को इंडस्ट्री में ट्रेनिंग प्राप्त करने का मौका मिलेगा। इसके माध्यम से छात्रों को वास्तविक तौर पर इंडस्ट्री में काम करने का अनुभव प्रदान करना है। इससे वे यह जान पाएंगे कि नौकरी के दौरान किस तरह की चुनौतियाें का सामना करना पड़ता है। पढ़ाई के दौरान ही उन्हें इसका एक्सपीरियंस मिल सकेगा जो उन्हें जॉब के दौरान काम आएगा। यूजीसी ने भी हायर एजुकेशन इंस्टीट्यूशंस को नेट्स में छात्रों को जोड़ने के निर्देश दिए हैं ताकि वे उसका लाभ उठा सकें। नेट्स के तहत छात्रों को विभिन्न इंडस्ट्री और संस्थानों में प्रशिक्षु के रूप में काम करने का मौका मिलेगा। खास बात यह है कि इसके लिए उन्हें वजीफा भी दिया जा सकता है। होगी। अब तक 36 लाख से ज्यादा रजिस्ट्रेशन एक प्लेटफाॅर्म पर मिलेगी जानकारी नेशनल अप्रेंटिसशिप ट्रेनिंग स्कीम के तहत एक ही पोर्टल पर छात्रों और उद्योगों को एक दूसरे से जोड़ने का मौका मिलेगा। इसके तहत इंडस्ट्री अपनी डिमांड नेट्स पोर्टल पर दे सकेंगे और यहां से छात्र भी उनसे जुड़ सकेंगे। यानि एक ही प्लेटफार्म पर दोनों की जरूरतें पूरी हो सकेंगी। उन्हें पोर्टल के माध्यम से डायरेक्ट बेनीफिट ट्रांसफर्स का लाभ मिल सकेगा। इसका मतलब है कि उन्हें प्रशिक्षण या अप्रेंटिसशिप के दौरान सीधे उनके बैंक खाते में वित्तीय सहायता या स्टाइपेंड प्राप्त हो सकता है। योजना छात्रों को व्यावहारिक अनुभव देने, उनके कौशल को निखारने में मदद करेगी। नेट्स पोर्टल छात्रों और इंडस्ट्री के बीच में एक सेतु की तरह काम करेगा। यह दोनों की जरूरतों को पूरा करेगा। छात्र यहीं से सीधे अप्रेंटिसशिप के लिए आवेदन कर सकेंगे। पहले से रहेगा प्रैक्टिकल नॉलेज
यूजीसी ने स्पष्ट किया है कि जो छात्र अप्रेंटिसशिप कर चुके होंगे उन्हें पहले से संबंधित इंडस्ट्री के बारे में प्रैक्टिकल नॉलेज रहेगा। पढ़ाई के बाद जब भी वे जॉब करेंगे तब उन्हें संंबंधित ट्रेड के संबंध में पहले से काफी जानकारी रहेगी। ऐसे में संबंधित इंडस्ट्री को भी उन्हें काम सिखाने में कठिनाइयों का सामना नहीं करना पड़ेगा। इंडस्ट्री का काम भी आसान हो जाएगा और छात्रों को भी रोजगार प्राप्त करने में आसानी होगी।