प्राचीन सैल सागर तालाब का मुद्दा गरमाया:केंद्रीय मंत्री ने कलेक्टर को दिए जांच के निर्देश, कहा- तालाब पर बने मंदिरों से हटेगा अवैध कब्जा

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शहर के सैल सागर तालाब की जमीन पर अतिक्रमण का मुद्दा तूल पकड़ता जा रहा है। एक दिन पहले बजरंग दल कार्यकर्ताओं ने तालाब पर बने मंदिरों से अवैध कब्जा हटाए जाने के संबंध में प्रदर्शन किया था। रविवार को इस मुद्दे पर केंद्रीय मंत्री डॉ. वीरेंद्र कुमार ने कहा कि तालाब से अवैध कब्जा हटाए जाने के संबंध में कलेक्टर को निर्देश दिए गए हैं। जल्द कार्रवाई होगी। दरअसल, शहर में राजशाही दौर में बनाया गया सैल सागर तालाब इन दिनों अतिक्रमण की चपेट में है। तालाब के अंदर पक्के मकान बन गए हैं। तालाब की बंधान पर बने प्राचीन मंदिरों पर आसपास के लोगों ने अवैध कब्जा जमा लिया है। इस मुद्दे को लेकर भाजपा जिला अध्यक्ष अमित नुना ने केंद्रीय मंत्री और कलेक्टर को पत्र लिखा था। इसके अलावा शांति समिति के बैठक के दौरान भी सैल सागर तालाब से अतिक्रमण हटाने की मांग की गई थी। शुक्रवार को इस संबंध में बजरंग दल कार्यकर्ताओं ने कलेक्ट्रेट परिसर में प्रदर्शन कर तहसीलदार को ज्ञापन सौंपा था। बजरंग दल के जिला संयोजक अशोक सेन ने बताया था कि शहर के वार्ड नंबर 19 में बने प्राचीन सैल सागर तालाब पर लगातार अवैध कब्जा हो रहा है। तालाब पर बने मंदिरों सहित आस-पास की जमीन पर अतिक्रमण हो गया है। असामाजिक तत्वों ने मंदिर की मूर्तियां नष्ट कर मंदिर को क्षतिग्रस्त कर दिया गया है। लोग मंदिर के दरवाजे बंद कर उसके बाहर बकरियां बांधने लगे हैं। बजरंग दल ने कलेक्टर के नाम तहसीलदार गोविंद सिंह ठाकुर को ज्ञापन सौंपकर सैल सागर तालाब और मंदिर के आसपास से अवैध कब्जा हटाए जाने की मांग की थी। कार्रवाई नहीं होने पर आंदोलन की चेतावनी दी है। कैचमेंट एरिया का होगा सीमांकन केंद्रीय मंत्री डॉ. वीरेंद्र कुमार ने कहा कि सैल सागर तालाब पर हो रहे अतिक्रमण की जांच के लिए कलेक्टर को निर्देश दिए गए हैं। तालाब के कैचमेंट एरिया का सीमांकन कराया जाएगा। तालाब पर अतिक्रमण करने वालों के खिलाफ जल्द कार्रवाई होगी। तालाब पर बने मंदिरों से भी अवैध कब्जा हटाया जाएगा।