40 दिवसीय चालिहा महोत्सव के चौथे शुक्रवार को झूलेलाल मंदिर में हुई विशेष आराधना हुई। इसमें चालिहा के विशेष शुक्रवार पर 11 परिवारों ने सामूहिक से बहराणा पूजन एवं दीप प्रज्जवलन कर भगवान झूलेलाल की आराधना की। सिंधी समाज का वर्षिक 40 दिवसीय चालिहा पर्व का समापन 25 अगस्त को होगा । चेटीचंड उत्सव समिति और हिन्दू संस्कृति मंच के संयुक्त तत्वावधान में 9 अगस्त को चालिहा के चौथे विशेष शुक्रवार के उपलक्ष्य में 11 परिवारों ने मिलकर बहराणा पूजन कर सैकड़ों दीप प्रज्ज्वलित कर इष्टदेव भगवान झूलेलाल की महाआरती की। आयोजन समिति के अशोक खूबानी, लता पुरसवानी एवं नरेश फुंदवानी ने बताया कि सिंधी भजनों पर समाज के छोटे बच्चे से लेकर बुजुर्ग तक नाचते हुए झूलेलाल की भक्ति में लीन थे। आयोजन में उपस्थित समाजजन द्वारा भगवान झूलेलाल की महाआरती की गई एवं दीप प्रज्जवलन करने के बाद पल्लव (अरदास) हुआ। इस अवसर पर प्रसाद रूपी तायरी (मीठे पीले चावल) का वितरण किया गया। आयोजन में मुख्य रूप से हरीश डावानी, भागचंद पुरस्वानी, हरीश आरिजा, राजकुमार लालवानी, कन्हैया बसंतानी, राज गुलानी, किशन बसंतानी, लता पुरस्वानी, द्रोपदी रिझवानी, संगीता वाधवानी सहित अनेक समाजजन उपस्थित थे।